विकास notes, Class 10 economics chapter 1 notes in hindi

Follow US On

10 Class अर्थशास्त्र Chapter 1 विकास Notes in hindi

TextbookNCERT
ClassClass 10
Subjectअर्थशास्त्र Economics
Chapter Chapter 1
Chapter Nameविकास
CategoryClass 10 अर्थशास्त्र Notes in Hindi
MediumHindi

विकास notes, Class 10 economics chapter 1 notes in hindi. जिसमे आय , आर्थिक विकास , साक्षरता दर , शिशु मृत्यु दर , उपस्थिति दर , मानव विकास सूचकांक आदि के बारे में पड़ेंगे ।

Class 10 Economics Chapter 1 विकास Notes in hindi

📚 अध्याय = 1 📚
💠 विकास 💠

❇️ अर्थव्यवस्था :-

🔹 एक ढ़ाँचा जिसके अन्तर्गत लोगों की आर्थिक क्रियाओं का अध्ययन किया जाता है । 

❇️ विकास के लक्ष्य भिन्न – भिन्न एवं परस्पर विरोधी कैसे :-

🔹 प्रत्येक व्यक्ति या समूह के विकास के लक्ष्य भिन्न भिन्न हो सकते हैं और कई बार इनकी प्रकृति परस्पर विपरीत भी हो सकती है । एक के लिए विकास का लक्ष्य दूसरे के लिए विनाश का कारण भी बन सकता है । 

🔹 उदाहरण :- नदी पर बाँध बनाना , वहाँ के किसानों के विस्थापन का कारण बन सकता है ।

❇️ आय के अतिरिक्त अन्य कारक जो हमारे जीवन में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं :-

🔹 आय के अतिरिक्त बेहतर जीवन के लिए परिवार , रोज़गार , मित्रता , सुरक्षा व समानता की भावना , शांतिपूर्ण माहौल आदि भी महत्त्वपूर्ण हैं । क्योंकि मुद्रा से केवल भौतिक वस्तुएँ ही खरीदी जा सकती हैं ।

❇️ आर्थिक विकास :-

🔹 एक ऐसी प्रक्रिया है जिसके द्वारा एक अर्थव्यवस्था की वास्तविक ‘ प्रति व्यक्ति आय दीर्घ अवधि में बढ़ती है ।

❇️ आर्थिक विकास के लिए साक्षरता की अनिवार्यता :-

  • इससे ज्ञान व दक्षता प्राप्त होती है । 
  • रोज़गार का स्तर बढ़ता । 
  • नई तकनीकों का प्रयोग व स्तर बढ़ता है । 
  • लोगों में स्वास्थ्य , पर्यावरण आदि के प्रति जागरूकता बढ़ती है । 
  • नए – नए उद्योगों को स्थापित करने की क्षमता बढ़ती है ।

❇️ एक देश की आय क्या है ?

🔹 किसी देश की आय उस देश के सभी निवासियों की आय है । इससे हमें देश की कुल आय ज्ञात होती है ।

❇️ देशों के मध्य विकास को नापने वाले कारक :-

🔹 देशों के मध्य विकास को नापने के लिए औसत आय के साथ सार्वजनिक सुविधाओं की उपलब्धता , स्वास्थ्य सेवाएँ , जन्म व मृत्यु दर , जीवन प्रत्याशा , प्रदूषण मुक्त वातावरण आदि मानकों का भी प्रयोग किया जाता है ।

❇️ देश की औसत आय की गणना :-

🔹 प्रत्येक देश के लिए औसत आय की गणना , अन्तर्राष्ट्रीय मुद्रा डॉलर में की जाती है ।

❇️ एक विकासशील और विकसित देश की मुख्य विशेषताएँ :-

🔶 विकसित देश :- 

  • नई तकनीक व विकसित उद्योग । 
  • उच्च स्तरीय रहन – सहन ।
  • उच्च प्रति व्यक्ति आय ।
  • साक्षरता दर उच्च । 
  • लोगों की स्वास्थ्य स्थिति बेहतर ( जन्मदर , मृत्यु दर पर नियंत्रण ) 

🔶 विकासशील देश :- 

  • औद्योगिक रूप से पिछड़े हुए । 
  • निम्न प्रति व्यक्ति आय । 
  • साक्षरता दर नियम
  • सामान्य रहन – सहन । 
  • बेहतर स्वास्थ्य का अभाव ( अधिक मृत्यु दर )

❇️ आर्थिक नियोजन :-

🔹 देश के साधनों का लाभ उठाकर देश के विकास को योजनाबद्ध रूप से बढ़ाना ।

❇️ राष्ट्रीय आय :-

🔹 देश के अंदर उत्पादित सभी वस्तुओं और सेवाओं के मूल्य तथा विदेशों से प्राप्त आय के जोड को राष्ट्रीय आय कहते है ।

❇️ प्रति व्यक्ति आय :-

🔹 जब देश की कुल आय को उस देश की जनसंख्या से भाग दिया जाता है तो जो राशि मिलती है उसे हम प्रति व्यक्ति आय कहते हैं ।

🔹 भारत मध्य आय वर्ग के देशों में आता है क्योंकि उसकी प्रतिव्यक्ति आय 2019 में केवल US $ 6700 प्रति वर्ष थी । 

❇️ शिशु मृत्यु दर :-

🔹 किसी वर्ष में पैदा हुए 1,000 जीवित बच्चों में से एक वर्ष की आयु से पहले मर जाने वाले बच्चों का अनुपात दिखाती है । 

❇️ साक्षरता दर :-

🔹 7 वर्ष और उससे अधिक आयु के लोगों में साक्षर जनसंख्या का अनुपात ।

❇️ निवल उपस्थिति अनुपात :-

🔹 14 तथा 15 वर्ष की आयु के स्कूल जाने वाले कुल बच्चों का उस आयु वर्ग के कुल बच्चों के साथ प्रतिशत ।

❇️ बी . एम . आई . :-

🔹 शरीर का द्रव्यमान सूचकांक पोषण वैज्ञानिक , किसी व्यस्क के अल्पपोषित होने की जाँच कर सकते हैं । यदि यह 18.5 से कम है तो व्यक्ति कुपोषित है अगर 25 से ऊपर है तो वह मोटापे से ग्रस्त हैं ।

❇️ मानव विकास सूचकांक :-

🔹 आय व अन्य कारकों की समाकेतिक सूची इसके आधार पर किसी देश को उसकी गुणवत्ता के आधार पर वर्गीकृत किया जाता है । यह विभिन्न देशों में विकास के स्तर का मूल्यांकन करने का मापदंड है । इसमें देशों की तुलना लोगों के शैक्षिक स्तर , स्वास्थ्य स्थिति और प्रति व्यक्ति आय के आधार पर होती है ।

❇️ मानव विकास सूचाकांक में भारत का स्थान :-

🔹 मानव विकास सूचाकांक की गणना में भारत का 136 वाँ स्थान है ।

❇️ विकास की धारणीयता :-

🔹 विकास की धारणीयता से अभिप्राय है कि पर्यावरण को नुकसान पहुँचाए बिना विकास करना तथा वर्तमान पीढियो की जरूरतों के साथ – साथ भावी पीढ़ियों की जरूरतों को ध्यान में रखना । 

❇️ विकास की धारणीयता की विशेषताए :-

  • संसाधनों का विवेकपूर्ण उपयोग । 
  • नवीकरणीय संसाधनों का अधिकतम उपयोग ।
  • वैकल्पिक संसाधनों को ढूँढने में मदद । 
  • संसाधनों के पुनः उपयोग व चक्रीय प्रक्रिया को बढ़ावा ।

❇️ नवीकरणीय साधन :-

🔹 भूमिगत जल नवीकरणीय साधन का उदाहरण हैं । फसल और पौधों की तरह इन साधनों की पुनः पूर्ति प्रकृति करती है , लेकिन यहाँ भी हम इन साधनों का अति – उपयोग कर सकते हैं । 

🔹 उदाहरण के लिए , भूमिगत जल का यदि बरसात द्वारा हो रही पुन : पूर्ति से अधिक प्रयोग करते हैं , तो हम इस साधन का अति – उपयोग कर रहे होंगे ।

❇️ गैर नवीकरणीय साधन :-

🔹 गैर नवीकरणीय साधन वो हैं , जो कुछ ही वर्षों के प्रयोग के पश्चात् समाप्त हो जाते हैं । इन संसाधनों का धरती पर एक निश्चित भण्डार है और इनकी पुनः पूर्ति नहीं हो सकती । 

Legal Notice
 This is copyrighted content of INNOVATIVE GYAN and meant for Students and individual use only. Mass distribution in any format is strictly prohibited. We are serving Legal Notices and asking for compensation to App, Website, Video, Google Drive, YouTube, Facebook, Telegram Channels etc distributing this content without our permission. If you find similar content anywhere else, mail us at contact@innovativegyan.com. We will take strict legal action against them.

All Classes Notes